राजीव गाँधी हत्या में शामिल नलिनी श्रीहरण की रिहाई याचिका खारिज

२८ अप्रैल
मद्रास हाई कोर्ट ने पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के दोषियों में शामिल नलिनी श्रीहरन को जल्द रिहा करने की मांग करने वाली याचिका खारिज कर दी है. खबरों के मुताबिक अदालत ने कहा कि नलिनी को सुप्रीम कोर्ट में लंबित इससे जुड़े मामले के नतीजे का इंतजार करना चाहिए. तमिलनाडु सरकार ने नलिनी श्रीहरन सहित राजीव गांधी हत्याकांड के सात दोषियों को जल्द रिहा करने के फैसले पर केंद्र से सलाह मांगी है. सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को तमिलनाडु सरकार को इसका जवाब देने का निर्देश दिया है.
रिपोर्ट के मुताबिक नलिनी श्रीहरन ने इसी साल फरवरी में मद्रास हाई कोर्ट में अपराध प्रक्रिया संहिता की धारा-४३५(१)(ए) की वैधता को चुनौती दी थी. इस धारा के तहत केंद्रीय एजेंसियों की भागीदारी वाले मामलों में दोषियों की सजा घटाने के लिए राज्यों द्वारा केंद्र से सलाह लेना अनिवार्य है. इससे पहले तमिलनाडु सरकार ने राज्यपाल की क्षमा करने की शक्तियों से जुड़े संविधान के अनुच्छेद-१६१ के तहत नलिनी श्रीहरन को जल्द रिहा करने का आदेश दिया था. लेकिन उनकी रिहाई नहीं हो पाई थी, क्योंकि राजीव गांधी हत्याकांड की जांच केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने की थी.
पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की तमिलनाडु के श्रीपेरंबदूर में २१ मई, १९९१ को एक आत्मघाती हमले में हत्या कर दी गई थी. इसमें नलिनी श्रीहरन के अलावा छह अन्य लोगों को दोषी ठहराया गया था.
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