Wed. Oct 16th, 2024

???????????????????????????????नेपालगन्ज,(बाँके) पवन जायसवाल, ९ गते ।
नेपाल के पश्चिम क्षेत्रों में बसोबास करने वाले थारु समुदाय में अभी दिखाई पडा सिक्केल सेल एनिमिया रोग के सम्बन्ध में जनचेतना पहुँचाने का अभियान शुरु किया गया है ।
उसी सचेतना अभियान अन्तर्गत बाँके जिला के गाँव और नगर स्थित विभिन्न विद्यालय और स्वास्थ्य शिविर में एक दिवसीय स्वास्थ्य सम्बन्धि सचेतना कार्यक्रम का आयोजन किया गया ।
उसी अवसर पर ग्रामीण आर्थिक सामाजिक उत्थान केन्द्र के आयोजन में बाँके जिला के मनिकापुर गाविस अन्तर्गत राँझा स्थित आदर्श उच्च माध्यमिक विद्यालय में माध्यमिक तह में अध्ययनरत बाँके और बर्दिया जिला के २५ कम्लहरी छात्राओं की सहभागिता में सिक्केल सेल एनिमिया रोग सम्बन्धि एक दिवसीय कार्यक्रम किया ।
कार्यक्रम में सहभागी कम्लहरी छात्राओं ने अपने जात में देखाई  पडा यह रोग के बारे Kamlahari Studentsएकदम ही नई जानकारी मिली है और इसके बारे में अपने परिवार, पडोसियों और गाँव घर में दशैं त्यौहार के छुट्टी में सचेतना फैलाने के लिये प्रतिवद्धता व्यक्त किया ।
इसी तरह एस.ओ.एस. युवालय नेपालगन्ज के विद्यार्थीयों के लियें स्वास्थ्य सम्बन्धि कार्यक्रम कीे आयोजन किया । ग्रामीण आर्थिक सामाजिक उत्थान केन्द्र के आयोजन में तथा एस.ओ.एस. युवालय कारकाँदौं के सहकार्य में असोज ९ गते विहीवार को कार्यक्रम सम्पन्न किया ।
कार्यक्रम में स्वास्थ्यविज्ञ डा. आमोद शर्मा ने सहजीकरण करते हुयें नेपाल के पश्चिम क्षेत्रों में बसोबास करने वाले थारु समुदाय में    अभी दिखाई पडा सिक्केल सेल एनिमिया रोग, सुर्तीजन्य चीज के सेवन से मानव जीवन में होने वाली प्रतिकुल प्रभाव और अन्य विभिन्न रोगों के बारे में विस्तृत जानकारी दिया था ।
डा. शर्मा ने अफ्रिका के काला जाति के इन्सानों में २ सौं वर्ष पहले दिखाई पडा यह रोग ???????????????????????????????नेपाल के थारु जातियों में अभी जल्द ही दिखाई पडा है इस लियें इस के बारे में समय में ही जानकारी लेकर सचेत होना एकदम जरुरी रही यह रोग अभी अफ्रिकी मुलुक, साउदी अरेबिया, भारत, पाकिस्तान लगायत के मुलुकों में बसोबास करने वाले लोगोंं में अधिक दिखाई पडी है ।
यह रोग पश्चिम नेपाल के थारु जातियों में दिखाई दिया तो भी अन्य जातियों भी छिटफुट रुप में दिखाई पडी है कहते हुयें यह रोग नेपाल में कहाँ से और कैसे आया ? अभी तक पत्ता नही लगा है डा. शर्मा ने बताया ।
यह रोग के सम्बन्ध में स्वास्थ्य विज्ञान ने किया अनुसन्धानों से दिखाई पडी स्थिति बारे में प्रस्तुती  करते हुयें डा. शर्मा ने उपचार ही नही हो सकती है वंशालुगत रोग सिक्केल सेल की प्रकार, बच्चों में दिखाई पडने वाली खतराएँ, लक्षण, जटिलताएँ, कैसे लगती है तथा रोकथाम के उपाय के बारे में व्याख्या किया ।
उसी अवसर पर सूर्तीजन्य चीजों के सेवन से मानव जीवन में होने वाली प्रतिकुल ???????????????????????????????प्रभावों के बारे में जानकारी देते हेयें इसे से  ७१ प्रतिशत फेफ्डे में क्यान्सर, ४२ प्रतिशत श्वासप्रश्वास सम्बन्धि क्यान्सर और १० प्रतिशत दिल सम्बन्धि रोग लगती है बताया ।
उसी अवसर पर ग्रामीण आर्थिक सामाजिक उत्थान केन्द्र की कार्यक्रम संयोजक श्रीमती लता शर्मा ने कार्यक्रम के उद्देश्यों पर प्रकाश डाली थी । ऐसे ही एस.ओ.एस. युवालय नेपालगन्ज के सहायक निर्देशक तुलाराम विश्वास ने सिक्केल सेल रोग के बारे में ुना था लेकि पहली बार सुना है जानकारी पाया, कार्यक्रम एकदम उपयोगी और लाभदायी रही बताया ।
कार्यक्रम में एस.ओ.एस. युवालय नेपालगन्ज के प्रवीणता प्रमाण पत्र और स्नातक तह के विद्यार्थी तथा कर्मचारीयों सहित ३० लोगों की सहभागिता रही थी सहभागीयों के ओर से सुरेश केसी और रुपा ओली ने कार्यक्रम को विषयवस्तु एकदम ही नई रही और उपयोगी थी बताया  ।
???????????????????????????????इसी तरह एस.ओ.एस. युवालय नेपालगन्ज के सहायक निर्देशक तुलाराम विश्वास के विशेष अनुरोध पर बर्दिया जिला के थारु जातियों में बसोबास रहे गाँवों में भी ऐसा सिक्केल सेल एनिमिया रोग के सम्बन्ध में जनचेतना फैलाने कीे कार्यक्रम करने जा रहे है कार्यक्रम संयोजक श्रीमती लता शर्मा ने हिमालिनी को जानकारी दी । ???????????????????????????????



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