छानबीन समिति गठन नहीं होने तक सदन अवरुद्ध रहेगी – नेता निधि
काठमांडू, वैशाख २९– नेपाली कांग्रेस के केन्द्रीय सदस्य एवम् सांसद विमलेन्द्र निधि ने कहा है कि सहकारी धोखाधड़ी प्रकरण में संसदीय छानबीन समिति बनाने के लिए सत्तापक्ष तैयार नहीं है इस कारण सदन अवरोध किया जा रहा है ।
शुक्रवार की शाम को अपने गृह जिला पहुँचे निधि ने जनकपुर विमानस्थल में सञ्चारकर्मी से बातचीत करते हुए कहा कि किसी भी विषय में संसदीय छानबीन समिति गठन करना सार्वभौम सदन का अधिकार है और इस अधिकार को सत्ता पक्ष कुण्ठित करना चाहती है जिसके कारण सदन में अवरोध किया जा रहा है ।
उन्होंने कहा कि सदन के अवरोध हटाने के लिए संसदीय छानबीन गठन करना ही पड़ेगी । छानबिन समिति गठन करने के लिए सत्तापक्ष असहमत हैं । उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि सदन को बन्धक बना लिया गया है । उन्होंने कहा कि जन सरोकार के विषयों को सदन में सांसद ही अगर नहीं उठा सके तो सदन में बैठने का कोई अर्थ ही नहीं है ।
नेता निधि ने कहा कि सहकारी धोखाधड़ी प्रकरण में रूपेन्देही, पोखरा तथा चितवन के सभी जगहों के सहकारी में प्रहरी द्वारा छानबिन कर यह मिला है कि उपप्रधान तथा गृहमन्त्री रवि लामिछाने की इसमें संलग्नता है । साथ ही वहाँ के सरकारी वकिल कार्यालय को प्रतिवेदन सहित दिया गया है । इसलिए इस विषय में संसदीय छानबिन होनी ही चाहिए । उन्होंने अपनी बात को रखते हुए कहा कि यदि लामिछाने निर्दोष ठहरते हैं तब भी इस विषय में संसदीय छानबिन होनी ही चाहिए ।
पत्रकारों के एक प्रश्न में पूर्वगृहमन्त्री निधि ने कहा कि गृहमन्त्री लामिछाने द्वारा सदन में स्पस्टीकरण दिया गया है लेकिन इससे मात्र नहीं होगा इस विषय में संसदीय छानबिन ही होनी होगी ।
संसद् अधिवेशन के पहले ही दिन प्रमुख प्रतिपक्षी दल कांग्रेस के साथ ही अन्य ने भी सहकारी अनियमितता के विषय में उपप्रधान एवम् गृहमन्त्री लामिछाने से जुड़े सभी मामलें में छानबिन समिति गठन करने के लिए जबतक सरकार नहीं तैयार होती है तबतक सदन को नहीं चलने दिया जाएगा ।
