बुढिगण्डकी आयोजना निर्माण की जिम्मेदवारी विद्युत प्राधिकरण को
काठमांडू, २४ नवम्बर । सरकार ने बुढीगण्डकी जल विद्युत आयोजना निर्माण के लिए नेपाल विद्युत प्राधिकारण को जिम्मेदवारी दिया है । शुक्रबार सम्पन्न मन्त्रिपरिषद् बैठक ने यह निर्णय किया है । १२ सय मेगावाट की यह आयोजना निर्माण के लिए प्रचण्ड नेतृत्व की सरकार ने चिनियां कम्पनी गेजुवा को दिया था । लेकिन देउवा नेतृत्व के वर्तमान सरकार ने गत कार्तिक २७ गते प्रचण्ड नेतृत्व के सरकार द्वारा किया गया उक्त सम्झौता खारीज किया था । जिसके चलते बामपन्थी गठबंधन द्वारा देउवा सरकार को खूब आलोचना हो रहा है । सर्वसाधारण से भी विरोध हो रहा है । कुछ लागों का कहना था कि भारत को खुश करने के लिए सरकार ने गेजुजा कम्पनी से लाइसेन्स छीन लिया है ।
समाचार स्रोतका कहना है कि आलोचना से बचने के लिए सरकार उक्त आयोजना तत्काल के लिए प्राधिरकण को देने का निर्णय लिया है । मन्त्रिपरिषद् बैठक के बाद पत्रकार सम्मेलन करते हुए ऊर्जा मन्त्री कमल थापा ने कहा– ‘अब बुढीगण्डकी आयोजना स्वदेशी पुँजी में ही निर्माण किया जाएगा ।’ उनका कहना है कि उक्त आयोजना स्वदेश पुँजी और प्रविधि प्रयोग कर निर्माण किया जाएगा । मन्त्री थापा के अनुसार इसके लिए १५ दिन के भीतर एक समिति निर्माण हो जाएगा । समिति द्वारा दी गई रिपोर्ट के अनुसार काम किया जाएगा ।