रामजन्मभूमि पर प्रधानमंत्री ओली द्वारा दी गई अभिव्यक्ति पर विश्वहिन्दु महासंघ का ध्यानाकर्षण
मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान रामचन्द्र के जन्मस्थल अयोध्या के विषय में सम्माननीय प्रधानमन्त्री केपी शर्मा ओली जी द्वारा व्यक्त अभिव्यक्ति के कारण हाल नेपाल और भारत लगायत संसार भर के धार्मिक तथा आध्यात्मिक संघसंस्थायों और हिन्दु ओमकार परिवार के बीच में उत्पन्न परिस्थिति के सम्बन्ध मे विश्वहिन्दु महासंघका गम्भीर ध्यानाकर्षण हुआ है ।
युग युग से अविछिन्न रूप में स्थापित नेपाल – भारत सामाजिक सांस्कृतिक धार्मिक तथा आध्यात्मिक सम्बन्ध को अक्षुण रखते हुए संसार के एकमात्र देवभूमि तथा तपोभूमि नेपाल के साथ हमारे धार्मिक ग्रन्थों द्वारा निर्दिष्ट मिथिला तथा अयोध्या का सम्बन्ध स्पष्ट रहते हुए भी उक्त विषय में तथ्य प्रमाणिकता के आधार पर आगे बढ्ने की आवश्यकता है न कि मनगढन्त वक्तव्यबाजी और राजनीतिकरण की।
यह हमारे वेद , पुराण , उपनिषद,रामायण तथा पाैराणिक धार्मिक ग्रन्थ में उल्लेखित एवं निर्देशित मूल्य , मान्यता , परम्परा अनुरुप ओमकार परिवार , इस बिषय का ज्ञाता , राष्ट्रीय अन्तर्राष्ट्रीय स्तर का धर्मगुरु और पुरातत्त्व का विज्ञयों के बीच गम्भीर एवं सुक्ष्म बिचार विमर्श तथा अध्ययन अनुसन्धान करना चाहिए ।
अत: धर्म-संस्कृति और अध्यात्म जैसा अति संवेदनशील भावनात्मक विषयों मे दोनों देश के बीच का भाइचारा मित्रता प्रेम और आपसी सद्भावको कायम रखते हुए धार्मिक सांस्कृतिक एकता मे आँच न आने देने के लिए सभी पक्षों के बीच समझदारी कायम कर सजगता अपनाकर आगे बढने के लिए विश्वहिन्दु महासंघ हार्दिक अनुरोध करता है ।
अस्मिता भण्डारी
महासचिव
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