कोसी बैरेज से छोडे गए पानी का असर बिहार पर, सात जगहों पर तटबंध टूटे
नेपाल में भारी बारिश के कारण बिहार में अलग-अलग स्थानों पर सात जगहों पर तटबंध टूटे हैं। ऐसी स्थिति गंडक में 21 वर्ष और कोसी में 56 वर्ष बाद अत्यधिक पानी के दबाव के कारण सामने आया है।
जल संसाधन मंत्री विजय चौधरी ने बताया कि पहली बार पूरे नेपाल के जल ग्रहण क्षेत्र में अत्यधिक बारिश होने के कारण उत्तर बिहार की नदियों में रिकार्ड पानी आया है। वर्षों बाद 2024 में कई नदियों ने अपने जलस्तर का रिकार्ड बनाया है।विजय चौधरी ने कहा है कि भविष्य में तटबंधों को और मजबूत एवं ऊंचा किया जाएगा। इस बार के अप्रत्याशित पानी को ध्यान में रखकर ही आगे की योजना बनायी जाएगी।
पानी कई तटबंधों को अप्रत्याशित रूप से ओवरटॉप कर गया। उन्होंने कहा कि बीते 72 घंटे हमारे लिए बड़ी चुनौतियों से भरा रहा है। आगे कई दिनों तक ऐसी स्थिति बनी रहेगी।
अत्यधिक जलस्राव के कारण सात स्थानों पर तटबंध क्षतिग्रस्त हुए हैं। क्षतिग्रस्त तटबंधों की युद्धस्तर पर मरम्मत की जा रही है। इसके अलावा, कई अन्य संवेदनशील स्थल हैं; जहां भारी दबाव की स्थिति उत्पन्न हुई है। जल संसाधन विभाग ने सभी संवेदनशील और अति संवेदनशील स्थलों की निगरानी के लिए 106 इंजीनियरों की टीम मैदान में उतारा है। अब तटबंध कहीं क्षतिग्रस्त ना हो इसके लिए सभी क्षेत्रीय इंजीनियरों को सख्त हिदायत दी गई है और उनसे कहा गया है कि इस दबाव को काफी गंभीरता से लेते हुए उसकी तत्काल मरम्मत करें। नदियों में अत्यधिक सिल्ट आने के कारण स्थिति खराब हुई है। इसके कारण कई जगह नदियों का जलस्तर तटबंधों को ओवर टाप कर गया है। सीतामढ़ी में तो सात-आठ किलोमीटर तक पानी तटबंध के ऊपर से बहता रहा।