मधेस प्रदेश सरकार आज मना रही है आठवां बलिदानी दिवस
काठमांडू, माघ ५– मधेस प्रदेश सरकार आज आठवां बलिदानी दिवस मना रही है । मधेश में अधिकार प्राप्ति आन्दोलन के क्रम में जिन्होंने अपनी जान गवां दी है उन शहीदों को याद कर प्रदेश सरकार गठन होने के बाद से औपचारिक रुप में माघ ५ गते को बलिदानी दिवस के रूप में मनाती आ रही है ।
मधेस प्रदेश सरकार ने इस बार बलिदानी दिवस वीरगञ्ज के टॉउन हॉल में विशेष समारोह का आयोजन कर मना रही है । ये जानकारी प्रदेश के अर्थमन्त्री सञ्जय कुमार यादव ने दी है । उनके अनुसार दोपहर १ बजे से कार्यक्रम शुरु किया जाएगा । बलिदानी दिवस के अवसर में मधेश आन्दोलन के क्रम में सहादत प्राप्त करने वाले शहिदों के परिवार को ३–३ लाख और घायलों के परिवारों को १ से २ लाख तक आर्थिक सहयोग करने की तैयारी है । ये जानकारी अर्थमन्त्री यादव ने दी । समारोह में प्रमुख अतिथि (जसपा) अध्यक्ष उपेन्द्र यादव प्रदेश सरकार के मन्त्री, सांसद तथा विभिन्न दल के शीर्ष नेताओं की उपस्थिति रहेगी ।
बलिदानी दिवस के दिन माघ ५ गते मधेश प्रदेश सरकार ने सार्वजनिक विदा देती आई है ।
मधेशी जनता के मांगों को सम्बोधन नहीं कर अन्तरिम संविधान २०६३ जारी की गई थी । तत्कालिन मधेशी जनअधिकार फोरम के अध्यक्ष उपेन्द्र यादव ने काठमांडू के माइती मण्डला में संविधान को जला दिया था इसके बाद यादव सहित दर्जनौं फोरम के कार्यकर्ता को प्रहरी ने गिरफ्तार कर लिया था । इसके बाद ही मधेश मे फोरम के कार्याकर्ताओं ने माघ ३ गते से मधेस के बाजार को बन्द कर आन्दोलन में उतर गए थे ।
आन्दोलन के ही क्रम में २०६३ माघ ५ गते सिराहा के लहान में राजमार्ग ठप्प कर विरोध प्रदर्शन किया गया था । प्रदर्शन के ही क्रम में पूर्व से माओवादी के कुछ नेता आ रहे थे । गाड़ी को रोका गया । गाड़ी रोकने पर माओवादी ने गोली चला दी । गोली रमेश महतो को लगी और उनकी मृत्यु हो गई । इसके बाद ही मधेस के सभी जिलों में आन्दोलन शुरु किया गया था ।
इस दिन को याद करते हुए मधेस केन्द्रित दल कार्यक्रम का आयोजन कर बलिदानी दिवस मनाती है । मधेस आन्दोलन के हिसाब से १७ वां बलिदानी दिवस होने के बाद भी प्रदेश सरकार औपचारिक रुप में यह आठवां बलिदानी दिवस है ।