डा. सुरेन्द्र यादव अपहरणकाण्डः डा. भट्टराई विरुद्ध मानव अधिकार आयोग में निवेदन पंजीकृत

काठमांडू, ५ मई । जनता समाजवादी पार्टी का आरोप है कि नेकपा संबंद्ध दो सांसद् महेश बस्नेत और किसन श्रेष्ठ तथा पूर्व पुलिस आईजीपी सर्वेन्द्र खनाल ने मिलकर पार्टी के सांसद् डा. सुरेन्द्र यादव को अपहरण किया है और इसमें प्रधानमन्त्री केपीशर्मा ओली भी संलग्न हैं । डा. यादव ने समाजवादी पार्टी के शीर्ष नेताओं की सुझाव अनुसार बस्नेत, श्रेष्ठ और खनाल के विरुद्ध राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग में एक निवेदन भी पंजीकृत किए हैं ।
ऐसी ही पृष्ठभूमि में समाजवादी पार्टी के नेता तथा पूर्व प्रधानमन्त्री डा. बाबुराम भट्टराई के विरुद्ध भी आयोग में एक और निवेदन पंजीकृत की गई है । मुद्दा पंजीकरणकरनेवाले और कोई नहीं, डा. यादव अपहरणकाण्ड के आरोपी बस्नेत, श्रेष्ठ और खनाल ही है । उन लोगों का मानना है कि डा. यादव को उन लोगों ने अपहरण नहीं किया है, लेकिन जनता समाजवादी पार्टी के नेता डा. यादव ने उलटे ही उन लोगों के विरुद्ध षडयन्त्र किया है ।
आयोग में उजुरी पंजीकृत करते हुए सांसद् द्वय बस्नेत और श्रेष्ठ तथा पूर्व आईजीपी खनाल ने कहा है कि डा. भट्टराई के ही योजना में उन लोगों के ऊपर अपहरण संबंधी मुद्दा पंजीकृत कर फसाने की षडयन्त्र की गई है । निवेदन में यह भी कहा गया है कि सांसद् डा. यादव की ओर से गाली–गलौज और मानहानी भी हुई है । निवेदन में यह भी कहा गया है कि डा. यादव द्वारा कहने पर उनके ही आग्रह अनुसार उन को महोत्तरी से काठमांडू तक लाया गया है, इसमें अपहरण संबंधी कोई भी सवाल नहीं है ।
निवेदन पंजीकरण करते हुए आयोग के सदस्य प्रकाश वस्ती ने कहा है कि संवैधानिक दायार और अधिकार प्रयोग कर दायर निवेदन के ऊपर अध्ययन किया जाएगा और घटना की अनुसंधान किया जाएगा । उनका कहना है कि दोनों पक्ष की ओर से पंजीकृत निवेदन को एक ही जगह रखकर अध्ययन किया जाएगा । उनका कहना है कि कानून और संविधान के अनुसार अनुसंधान को निष्पक्ष बनाया जाएगा ।