जीवन मे हमेशा परोपकार की भावना जागृत रखे :स्वामी आचार्य अभिषेक पाठक महाराज
माला मिश्रा वरीय संवाददाता । कोशी प्रदेश नेपाल के बिराटनगर स्थित सिटी पैलेस में आयोजित सात दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा पुराण सप्ताह यज्ञ में कथावाचक आचार्य पंडित अभिषेक पाठक महाराज ने कहा कि जीवन मे हमेशा परोपकार की भावना जागृत रखे । मनुष्य का परम धर्म है कि वो ईश्वर तत्व को जानें। यदि मनुष्य का शरीर मिल भी गया है और उस शरीर का सदुपयोग नहीं किया गया तो वह मनुष्य पशुवत हो जाता है। क्योंकि आहार, निद्रा, भय और संतानोत्पत्ति यह तो मनुष्य जैसे करते हैं वैसे पशु भी करते हैं, किंतु मनुष्य में एक विशेष गुण है धर्म, जो पशु में नहीं पाया जाता है। मनुष्य ही एकमात्र ऐसा प्राणी है, जो धर्म का आचरण करके जीवन की सार्थकता को प्राप्त कर सकता है। अर्थात धर्म को ग्रहण करके ईश्वर तत्व में प्रतिष्ठित होकर परम धर्म और परम मोक्ष को प्राप्त कर सकता है। कहा कि समस्त जीव व मनुष्य के रक्षा हेतु व्यास जी ने
भगवान ने श्रीमद्भागवत महापुराण की रचना की। यदि सभी मानव इस भागवत शास्त्र में कहे हुए उपदेश तत्व को ग्रहण कर लें तो निश्चित रूप से समस्त प्रकार के मनोवांछित फलों की प्राप्ति होगी। यज्ञ के सफल आयोजन में मुख्य संयोजक मनोज मिश्र , काठमांडू निवासी समाजसेवी भगवान झा सक्रिय रूप से लगे हुए है ।