इजरायल फिलीस्तीन युद्धः सच होती भविष्यवाणियां : कंचना झा

कंचना झा, हिमालिनी अंक अक्टूबर । सन २०२५ के बाद भारत करेगा विश्व पर राज । यह एक भविष्यवाणी है, जो आज से करीब पाँच सौ साल पहले की गयी थी । १४ दिसंबर १५०३ को फ्रांस में जन्मे नास्त्रेदमस ने ऐसी ही हजारों भविष्यवाणियां की हैं । वो नहीं हैं लेकिन आज भी उनके द्वारा लिखी गई श्लोकात्मक शैली में उपलब्ध ये हजारों भविष्यवाणियाँ हमारे बीच में है । जिनमें में से अधिकांश सत्य सावित हुआ है । लेकिन श्लोकात्मक शैली में लिखी हुई इन भविष्यवाणियों को किसी भी घटना के होने से पहले समझ पाना कठिन है, क्लिष्ठ भाषा के कारण । वैसे पिछले ५० वर्षो में उनकी ८०० भविष्यवाणियाँ सत्य साबित हुई है ।



आज हमें अचानक नास्त्रेदमस की याद क्यों आ रही है ? कारण स्पष्ट है कि विश्व एक जाल में फंस रहा है और उससे उबरने के लिए एक रास्ता तलाश कर रहा है । अब का समय ऐसा आ गया है सभी देश विश्व पर राज करने का सपना देख रहे हैं,सत्ता में अपनी पैठ बनाने की चाहत है सबमें । मैं बड़ा तो मैं बड़ा की लड़ाई चल रही है । सभी ने अपने–अपने अस्तित्व की लड़ाई का क्षेत्र बना दिया है इस पृथ्वी को । लेकिन इसका असर, इसका प्रभाव भी इन्सान ही झेलेगा । बम, बारुद, का निर्माण हमने अपनी रक्षा के लिए किया लेकिन ये हमें सर्वनाश की ओर ले जा रहा है । जो देश युद्ध के मैदान में हैं वो तो युद्ध में हैं ही लेकिन बाकी सभी भी इसका खामियाजा भुगत रहे हैं । हरेक देश अस्थिरता, आर्थिक मंदी, से गुजर रहा है अभी । हम लड़ने और धमकाने के अलावे कुछ नहीं कर रहे हैं । एक दूसरे को विनाश कर देने की बात करते हैं । तो ऐसे में जब सभी परेशान होते हैं तो तलाश करते हैं उन बातों की जिससे शांति मिले । या तलाश करते हैं उन बातों की कि कहीं क्या किसी ने कुछ भविष्यवाणियाँ की थी इन बातों को लेकर ? तब याद आती है नास्त्रेदमस की । उनके द्वारा किए गए भविष्यवाणी की ।
इसी बीच भारत विश्व में उभर कर सबके सामने आ रहा है । भारत की अपनी नीति है, एक नई सोच है, एक दूरगामी दृष्टि है विश्व को देखने की । भारत अपने साथ–साथ विश्व हित की बात कर रहा है । जो भारत अभी नजर आ रहा है इसकी कल्पना शायद किसी ने नहीं की थी लेकिन नास्त्रेदमन ने अपनी भविष्यवाणी में इसकी चर्चा की है । उनकी हजारों भविष्यवाणियाँ में से एक है, सन् २०२५ के बद भारत विश्व पर राज करेगी । भारत शांति और धर्म स्थापना को लेकर लिखेगा एक नया इतिहास । नास्त्रेदमस की इस भविष्यवाणी का अर्थ तो वे खुद ही जानते होंगे लेकिन पिछले कुछ वर्षो में इधर जो परिवर्तन हो रहे हंै वैश्विक परिस्थिति में वह संकेत कर रहा है कि नास्त्रेदमस शायद सही हो ।
भारत विश्व पर राज करेगा इसका अर्थ यह कतई नहीं कि भारत विश्व सम्राट बन जायेगा । इस भविष्यवाणी का अर्थ है भारत जो कि हिन्दू धार्मिक सिद्धान्त पर आगे बढ़ रहा है वह सिद्धान्त विश्व पर राज करेगा अर्थात सभी लोग इस सिद्धान्त को मानने के लिए बाध्य हाेंगे । हिन्दू धर्म का मूल सिद्धान्त ही है, वसुधैव कुटुम्बकम अर्थात समस्त विश्व ही कुटम्ब है । हिन्दू धर्म यह मानता है कि –
“सर्वे भवन्तु सुखिनः ।
सर्वे सन्तु निरामयाः ।
सर्वे भद्राणि पश्यन्तु ।
मा कश्चित् दुःख भाग्भवेत् ।।”
अर्थात सभी सुखी रहें, सभी का मंगल हो ।
नास्त्रेदमस ने भविष्वाणी की है कि सन २०२५ के आस–पास विश्व दो खेमें में बँट जाएगा । करीब डेढ़ वर्ष से चल रहे रुस और यूक्रेन बीच युद्ध के कारण सही मायने में विश्व दो खेमों में बंट चुकी है । एक तरफ नेटो है जो रुस को बरबाद करने पर तुला है तो दूसरे तरफ रूस जो कि अपने दुश्मन को विनाश करने का हर सम्भव प्रयास कर रहा है । रूस को चीन, इरान, उत्तर कोरिया का समर्थन है तो दूसरी तरफ यूक्रेन को अमेरिका और यूरोपेली संघ के अधिकांश सदस्य राष्ट्र का समर्थन है ।
रूस यूक्रेन बीच के युद्ध के कारण विश्व में खाद्यान्य पदार्थ का अभाव है । पेट्रोलियम पदार्थ के मूल्य आसमान छू रहे हैं । जब सारा विश्व दो खेमे में बंट चुका है तो भारत शान्ति की बात कर रहा है । भारत लगातार दोनो पक्षों को संवाद के द्वारा समस्या को हल करने के लिए आग्रह कर रहा है ।
रूस और यूक्रेन के बीच के युद्ध को झेल रहे दुनिया वाले अब एक नई समस्या से जुझ रहे हंै । वह है, इजरायल फिलीस्तिन युद्ध । हमास के आक्रमण ने एक दहशत सी ला दी है । निर्दोष लोग मारे जा रहे हैं । जिनका कोई लेना देना नहीं है हमास से उनपर क्यों आक्रमण ? उनकी जान क्यों ली जा रही है ? पूरा विश्व इन बातों में उलझा है अभी । दस दिनों से लगातार चल रहे इस युद्ध में तीन हजार से ज्यादा निर्दोष व्यक्ति जान गंवा चुके है । दोनो तरफ से चल रहे आक्रमण प्रत्याक्रमण में खरबों की सम्पत्ति का नुकसान हो चुका है न जाने कितनी अभी और होगा ।
इजरायल का कहना है कि वह फिलिस्तिन से हमास का नामो निशान मिटा देगा । हमास को इजरायल के साथ ही विश्व समुदाय भी एक आतंकी संगठन मानता है । इस संगठन ने दस दिन पहले अचानक इजरायल पर आक्रमण कर दिया और जिसमें तीन हजार से ज्यादा लोगों की जान चली गई है । सौ से ज्यादा इजरायलियों को बंधक बना लिया गया है । इस संगठन को हिजबुल्ला समुह का समर्थन है ।
दूसरी तरफ अपने अस्तित्व के लिए संघर्ष कर रहे इजरायल भी युद्ध के सारे नियमों को भुला कर युद्ध के मैदान में उतर गया है । उसे गाजा पट्टी क्षेत्र को चारों तरफ से घेर लिया है । बिजली और पानी का आपूर्ती तक को बन्द कर दिया है । २४ घन्टा के अन्दर उत्तरी गाजा खाली करने की चेतावनी देकर उसने मानवता के सिद्धान्त पर ही प्रश्न चिन्ह लगा दिया है । वैसे ये सब होना ही था नेस्त्रादमस की अगर भविष्यवाणी को माने तो । अभी गाजा क्षेत्र में करीब २३ लाख लोग रह रहे हैं और उत्तरी गाजा की बात की जाय तो वहाँ की जनसंख्या करीब १० लाख है । ये लोग कहाँ जायेंगे ? क्या खाएंगे ? कहाँ रहेंगे ? जल, थल और आसमान से आक्रमण की जा रही है, हजारों लोग प्रत्येक दिन घायल हो रहे हैं, अस्पताल में लाश रखने की भी जगह नहीं है ।
परिस्थिति विकराल है ,लेकिन ऐसी परिस्थिति में भी विश्व दो खेमे में बँटा दिखता है । एक ओर अरब राष्ट्र है, इस्लामिक ये राष्ट्र फिलिस्तिन को समर्थन कर रहें हैं तो दूसरी ओर ईसाई बाहुल्य अमेरिका,ब्रिटेन, जर्मनी, फ्रान्स इजरायल को समर्थन दे रहे हैं ।
युद्ध समस्या का समाधान नहीं, यह कुछ नहीं देता बल्कि सब कुछ छीन लेता है । संवाद के द्वारा शान्ति स्थापना करना ही आज की आवश्यकता है । ऐसी सोच भारत की है । उसने स्पष्ट रूप से कह दिया है कि युद्ध और आतंक समस्या का समाधान नही । वह लगातार संवाद द्वारा समस्या समाधान के लिए युद्धरत पक्ष को आग्रह करता आ रहा है चाहे वह रूस युक्रेन हो या फिर इजरायल फिलिस्तिन हो ।
इतिहास गवाह है इस बात का कि जब–जब कोई युद्ध हुआ है अपने साथ विनाश को लेकर आया है । न जीतने वाले को कुछ हासिल हुआ है न हारने वाले को । जो जीतता है उसके पास ही खुशी मनाने के लिए कुछ नहीं होता है । क्योंकि उसके सामने भी बहुत से अपनो की लाशें होती हैं । वह भी बहुत कुछ खोता है । ऐसे समय में शांति का मार्ग दिखाने के लिए किसी न किसी को आगे आना ही होगा ।
नास्त्रेदमस की भविष्यवाणी को अगर माने तो उनके अनुसार तीसरे महायुद्ध की स्थिति सन् २०१२ से २०२५ के मध्य उत्पन्न हो सकती है । तृतीय विश्वयुद्ध में भारत शांति स्थापक की भूमिका निभाएगा वैसे अगर देखा जाए तो अभी जो युद्ध रूस यूक्रेन और इजरायल फिलिस्तिन के बीच चल रहा है, उसमें भारत का कहना है कि कूटनीति और बातचीत से आपसी सहमति बनावे और आशा है कि सभी देश भी यही कहेंगे । नास्त्रेदमस ने तीसरे विश्वयुद्ध की जो भविष्यवाणी की है उसी के साथ उसने ऐसे समय एक ऐसे महान राजनेता के जन्म की भविष्यवाणी भी की है, जो दुनिया का मुखिया होगा और विश्व में शांति लाएगा । लेकिन इस महान व्यक्ति का जन्म कहाँ होगा इस बात को लेकर मतभेद है ।
वैसे ज्यादातर जानकारों का मानना है कि दुनिया का मुक्तिदाता भारत में ही जन्म लेगा । कहीं ऐसा तो नहीं कि उस मनुष्य ने जन्म ले लिया हो और वह राजनीति में सक्रिय भी हो । वह राजनेता होगा या धर्मयोद्धा यह कहना मुश्किल है । नास्त्रेदमस ने इस संबंध में बहुत–सी भविष्यवाणियां की हैं ।
पिछले समय में फिलिस्तिन के कूटनीतिज्ञों ने भी भारत से आग्रह किया है कि युद्ध अन्त के लिए वह मध्यस्थता करें । इजरायल फलिस्तिन युद्ध क्या मोड़ लेता है यह देखना बाकी है लेकिन नेस्त्रादमस ने जो भविष्यवाणी की है कि विश्व दो खेमों में बंट जाएगा, वो सच होता नजर आ रहा है । इस्लाम और ईसाई एक दूसरे के खून के प्यासे हो जाएंगे । ऐसे में भारत दोनों के बीच सुलह कराएगा और आने वाले समय में भारत ही विश्व पर राज करेगा, यह भविष्यावाणी सत्य होती दिख रही है ।
