Sat. May 4th, 2024

डॉ राउत दाल-भात के बहाने राजनितिक रोटी सेक रहें हैं : मुरली मनोहर तिवारी (सीपू)

 
मुरली मनोहर तिवारी (सीपू), बीरगंज | जनमत पार्टी के संयोजक डॉ.सी के राउत ने पर्सा-बारा में चक्रवाती तूफान में घायलों से मिलने के बाद अपने पोस्ट में मुख्यमंत्री लालबाबू राउत और प्रदेश २ सरकार खिलाफ आरोपों की झड़ी लगा दिया है। उन्होंने आरोप लगाते हुए लिखा है की, अगर सभी कार्य के लिए केंद्र सरकार ही है तो प्रदेश सरकार का क्या काम है ? मुख्यमंत्री, विदेशी को ३६ ब्यंजन खिलाने में एक ही दिन में ७३ लाख खर्च करते समय केंद्र द्वारा बाधा उतपन्न नहीं हुआ। भोजभतेर में ४ करोड़ स्वाहा करते समय केंद्र बाधक नहीं हुआ। जनता का छाल नोचते हुए, कर बढ़ाकर उठाए हुए,करोडो रुपया से पोखरी और मंदिर के सौंदर्यीकरण के नाम पर अपने लठैत पालने में खर्च करने पर केंद्र बाधक नहीं हुआ। लेकिन अभी भूखे-घरविहीन होकर असहाय पड़े बारा के तूफान पीड़ित जनता को १०-१२ दिन मेस चलाकर सामूहिक रूप में मुख्यमंत्री को दाल-भात खिलाने में केंद्र बाधक हुआ ? बहाना का भी हद होता है। हरेक बात में केंद्र को दोष देकर अपना असक्षमता और भ्रष्टाचार छुपाने का प्रयास करना ?  क्या प्रदेश सरकार स्वराजीयो का हत्या करने,पकड़ने,और दमन करने के लिए मात्र है ? #असक्षम # भ्रष्ट #दलाल #प्रदेश_नं._२ _सरकार 
डॉ सी के राउत के इस पोस्ट के बाद प्रदेश सरकार और मुख्यमंत्री समर्थको में खलबली मच गई है, सोशल मीडिया में आरोप-प्रत्यारोप का वाक-युद्ध शुरू हो गया है। डॉ राउत के पोस्ट पर प्रतिक्रिया देते हुए,स.स.फोरम के प्रदेश सचिव और स्वच्छता अभियान के संयोजक मो.सलाउद्दीन अहमद ने कहा की, इस भयंकर दुःख की घडी में डॉ राउत दाल-भात के बहाने अपने राजनितिक रोटी सेकने का प्रयास कर रहे है। शायद उन्हें मालूम नहीं की चक्रवाती तूफान के रात से ही मुख्यमंत्री और उनके सहयोगी राहत कार्य में लगे हुए है। प्रदेश सरकार घायलों का इलाज और पुनर्स्थापना के कार्य में लगी है। खुद मुख्यमंत्री के पहल पर बिभिन्न गैर सरकारी संगठनों द्वारा अस्पताल और पीड़ित गांव में भोजन दिया जा रहा है। गांव में एक ही जगह भोजन के व्यवस्था करने से भगदड़ और दुर्घटना की आशंका के कारण टोल-टोल में भोजन की व्यवस्था की गई है। कई प्रभवित जगह की जानकारी मीडिया और सीडीओ तक को नहीं थी, वहां  भी सबसे पहले मुख्यमंत्री पहुंचे। जहां तक विदेशी को भोज-भतेर और खर्च करने की बात है तो डॉ राउत भूल रहे है की उसी मंच पर कैसे मुख्यमंत्री ने मधेश के लिए आवाज उठाया था और उपस्थित जनता ने हरेक शब्द का तालियों की गड़गड़ाहट से स्वागत किया था। उसी कार्यक्रम से मधेश के बिकास में आर्थिक पॅकेज भी मिला था। जिसे विदेशी कह रहे है उनसे हमारा खून का रिश्ता है, बेटी-रोटी का सम्बन्ध है।
जहां तक भ्रष्टाचार की बात है, तो केंद्र सरकार अपने सारे संयंत्र से प्रदेश सरकार पर निगरानी रखे हुए है, लेकिन एक रुपए का भी भ्रष्टाचार साबित नहीं कर सकता। स्वराजीयो का हत्या करने,पकड़ने,और दमन करने की बात है तो डॉ राउत स्वराजियो और खुद को धोखा दे रहा है जब प्रदेश के पास अभी तक अपना पुलिस- प्रशासन ही नहीं है तो इस प्रकार के निरर्थक बातो का क्या अर्थ निकलता है। जबकि डॉ राउत खुद मधेश की बात करते-करते मधेश बिरोधो के पास आत्मसमर्पण करके उनके गोदी में बैठ गए। आज डॉ राउत वही भाषा बोल रहे है जो शुरू से मधेश बिरोधी बोलते आ रहे है।



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